नेत्र संक्रमण (Conjunctivitis) की रोकथाम के लिये जन-जागरूकता हेतु निर्देश

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SSE NEWS NETWORK (Neemuch) 27-07-2023 Health

बारिश के मौसम में तेजी से फैल रहा आई फ्लू
मौसम में बदलाव से एडिनो वायरस आंख आना का खतरा बढ़ गया है। यह एक ऐसा वायरस है। जिसके प्रभाव से आंखें लाल व खुजली होना, जलन महसूस होने की समस्या होती है। डॉक्टरों की भाषा में इसे कंजेक्टिवाइटिस कहा जाता है।

इस बीमारी में बुखार, आवाज बैठना, नाक बहना आदि की समस्या सामने आ रही है। इस बीमारी के शहर के अस्पतालों में पीड़ित मरीज तेजी से पहुंच रहे है। इसमें सबसे ज्यादा मरीज सरकारी अस्पताल की ओपीडी में पहुंच रहे है। चिकित्सकों का कहना है कि हल्की बारिश के बाद गर्मी और उमस बढ़नेसे इस बार आई फ्लू के मरीजों की संख्या ज्यादा आ रही है। इस बीमारी में बच्चों के साथ बुजुर्ग भी पीडित है। इसमें ठीक होने में छह से सात दिन का समय लग रहा है।


Conjunctivitis (नेत्रश्लेष्मलाशोथ) जिसे गुलाबी आँख के रूप में भी जाना जाता है, नेत्र संक्रमण का सबसे आम प्रकार है। यह मौसम बैक्टीरिया और वायरस को बढ़ने और फैलने के लिए अनुकूल वातावरण प्रदान करता है, जिससे संक्रामक के मामले बढ़ जाते हैं। हाल ही में खबर आई है कि देशभर के कई राज्यों में कंजक्टिवाइटिस के केस बढ़ रहे हैं और लोग इससे काफी परेशान हैं। हम इस पोस्ट में आपको इसके लक्षण, रोकथाम और उपचार के बारे में जानकारी देंगें। 

कंजक्ट‍िवाइटिस के लक्षण 
लाल आंखें, खुजली, आंखों में दर्द, आंखों से पानी आना, सूजन, आंखों से पानी निकलना, धुंधली दृष्टि और प्रकाश के प्रति संवेदनशीलता इस संक्रमण के कुछ सामान्य लक्षण हैं।

बारिश और आंखों में संक्रमण का क्या है कनेक्शन? 
मामलों की संख्या में वृद्धि को विभिन्न कारकों के लिए जिम्मेदार ठहराया जा सकता है। बरसात के मौसम में बढ़ी हुई आर्द्रता और गर्म तापमान का संयोजन बैक्टीरिया और वायरस के तेजी से प्रजनन के लिए आदर्श परिस्थितियों का निर्माण करता है। इसके अलावा, दूषित पानी के जलभराव से बैक्टीरिया और कीटाणुओं को तेजी से बढ़ने का मौका मिलता है।

नेत्र संक्रमण (Conjunctivitis) की रोकथाम के लिये जन-जागरूकता हेतु निर्देश ।
उपरोक्त विषयांतर्गत लेख है कि वर्तमान माह में नेत्र संक्रमण (Conjunctivitis), Eye Flu तेजी से आम-जन में फैल रहा है, इसकी रोकथाम हेतु निम्न निर्देश दिये जाते है:-

1. अपनी आंखों को छूने से पहले हाथ आवश्यक रूप से धोयें ।


2. संक्रमित व्यक्ति अपना टॉवल, तकिया, आई ड्रॉप आदि उपयोग की गई वस्तुऐं घर के अन्य सदस्यों से अलग रखें।

3. स्विमिंग पूल तालाबों के प्रयोग से बचे।

4. कांटेक्स लेंस पहना बंद करें और अपने नेत्र चिकित्सक की सलाह के अनुसार ही फिर इसे शुरू करें।

5. आँखों के सौंदर्य प्रसाधनों का प्रयोग न करें।

6. साफ हाथों से अपनी आंखों के आस-पास किसी भी तरह के स्त्राव को दिन में कई बार साफ गीले कपड़े से धोयें उपयोग किये गये कपड़े को गर्म पानी से धोलें।

7. यदि आँखों में लालिमा हो तो अपने नजदीकी स्वास्थ्य केन्द्र से परामर्श लें। डाक्टर के सलाह के बिना कोई भी ड्रॉप का उपयोग न करें।


उपरोक्त निर्देश आमजन में जन-जागरूकता हेतु प्रसारित करें।

कंजक्ट‍िवाइटिस की रोकथाम 
हाथ धोएं या बार-बार साफ करें
अपनी आंखों को छूने से बचें
कंजक्ट‍िवाइटिस वाले व्यक्ति को कुछ दिनों के लिए खुद को अलग कर लेना चाहिए जब तक कि पानी आना और डिस्चार्ज बंद न हो जाए
कंजक्ट‍िवाइटिस वाले व्यक्ति के साथ तौलिए, रूमाल या बिस्तर शेयर न करें
स्वयं-चिकित्सा न करें सार्वजनिक स्थानों, विशेष रूप से, वॉटर पार्क और सार्वजनिक स्विमिंग पूल से बचें
समय पर उपचार पाने के लिए किसी नेत्र रोग विशेषज्ञ के पास जाना बेहतर है।
घरेलु उपाय 
शहद 
आप एक गिलास पानी में 2 चम्मच शहद मिला लें। अब इस पानी से आंखों को धोएं। ऐसा करने से आंखों में दर्द और जलन से भी राहत मिल सकती है।

गुलाब जल 
गुलाब जल की दो-दो बूंदें आंखों में डालें। ऐसा करने से आंखों में दर्द और जलन से राहत मिलेगी।

आलू
रात में सोने से पहले आलू के टुकड़ों को अपनी आंखों के ऊपर रखें। लगभग 10-15 मिनट तक लगा कर रखें, फिर हटा दें। इससे आंखों की सूजन और दर्द से भी राहत मिलेगी।

तुलसी 
आप तुलसी के पत्तों को रातभर के लिए पानी में भिगोकर रख दें। अगली सुबह इस पानी से आंखों को धोएं। नियमित रूप से कुछ दिनों तक ऐसा करने से आपको काफी लाभ होगा।

हल्दी 
आप गुनगुने पानी में एक चुटकी हल्दी पाउडर  डालकर मिक्स कर लें। अब इस पानी में कॉटन पैड को भिगोएं और इससे अपनी आंखों को पोंछें। इससे आंखों के आसपास मौजूद गंदगी साफ हो जाएगी और संक्रमण से बचाव में मदद मिलेगी

रिपोर्ट : मनोज खबिया