अशोकनगर जिले के ईसागढ़ के ग्राम कदवाया की एक हाई रिस्क गर्भवती आदिवासी महिला को डिलीवरी के लिये अस्पताल के चक्कर काटने का मामला सामने आया है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार ग्राम कदवाया आदिवासी कॉलोनी में रहने वाली आदिवासी महिला को पेट में दर्द उठा तो परिजन उसे एंबुलेंस से ईसागढ़ अस्पताल लेकर गए, जहां प्रसूता को भर्ती करने से पहले पेट में सूजन व जुड़वा बच्चे होने की कहकर जिला अशोकनगर के लिए रेफर कर दिया गया। जहां अस्पताल के स्टाफ द्वारा महिला के परिजनों से हस्ताक्षर मांगे और चिल्लाकर कहा गया कि यदि महिला को कुछ हो जाये तो हमारी कोई जिम्मेदारी नहीं रहेगी। जिससे परिजन डर गये और महिला को तेज दर्द होने पर उसे वापस गांव लेकर पहुंचे, जहां उप स्वास्थ्य केंद्र में महिला का प्रसव कराया गया। मामले में संज्ञान लेकर मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग ने सीएमएचओ, अशोकनगर से मामले की जांच कराकर प्रसूता की डिलीवरी जिला चिकित्सालय, अशोकनगर में नहीं किये जाने की परिस्थितियों के संबंध में स्पष्ट प्रतिवेदन तीन सप्ताह में मांगा है।
शहर : हाई रिस्क गर्भवती आदिवासी महिला को डिलीवरी के लिये अस्पताल के लगाने पड़े चक्कर
अशोकनगर जिले के ईसागढ़ के ग्राम कदवाया की एक हाई रिस्क गर्भवती आदिवासी महिला को डिलीवरी के लिये अस्पताल के चक्कर काटने का मामला सामने आया है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार ग्राम कदवाया आदिवासी कॉलोनी में रहने वाली आदिवासी महिला को पेट में दर्द उठा तो परिजन उसे एंबुलेंस से ईसागढ़ अस्पताल लेकर गए, जहां प्रसूता को भर्ती करने से पहले पेट में सूजन व जुड़वा बच्चे होने की कहकर जिला अशोकनगर के लिए रेफर कर दिया गया। जहां अस्पताल के स्टाफ द्वारा महिला के परिजनों से हस्ताक्षर मांगे और चिल्लाकर कहा गया कि यदि महिला को कुछ हो जाये तो हमारी कोई जिम्मेदारी नहीं रहेगी। जिससे परिजन डर गये और महिला को तेज दर्द होने पर उसे वापस गांव लेकर पहुंचे, जहां उप स्वास्थ्य केंद्र में महिला का प्रसव कराया गया। मामले में संज्ञान लेकर मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग ने सीएमएचओ, अशोकनगर से मामले की जांच कराकर प्रसूता की डिलीवरी जिला चिकित्सालय, अशोकनगर में नहीं किये जाने की परिस्थितियों के संबंध में स्पष्ट प्रतिवेदन तीन सप्ताह में मांगा है।